गुरुपूर्णिमा पर गुरुकुल में बटुकों का हुआ यज्ञोपवीत संस्कार, गुरु का पूजन कर लिया आशीर्वाद

On the occasion of Gurupurnima, sacred thread ceremony of Batukas took place in Gurukul, Guru was worshiped and blessed.

-कार्यक्रम में शामिल अतिथियों ने गुरु की महत्ता बताते हुए सनातन संस्कृति को कराया याद

-नवप्रवेशित बटुकों का यज्ञोपवीत संस्कार के साथ भारतीय संस्कृति से कराया गया अवगत

ग्रेटर नोएडा,21 जुलाई। सेक्टर ईटा-एक स्थित गुरुकुल में गुरु पूर्णिमा महोत्सव का आयोजन बड़े धूमधाम से किया गया। गुरुकुल में नए सत्र के बटुकों का यज्ञोपवीत संस्कार होने के बाद महर्षि व्यास पूजा के साथ ही गुरु पूजन कर विद्या प्राप्ति की कामना से गुरुजी से आशीर्वाद लिया। पूजन के बाद गुरुजी का आशीर्वचन हुआ। महर्षि पाणिनि वेद-वेदांग विद्यापीठ गुरुकुल के संस्थापक आचार्य रविकांत दीक्षित ने बतलाया कि गुरु का महत्व हमारे जीवन में प्रकाश की ज्योति के समान होता है। अर्जुन, गुरु द्रोणाचार्य एकलव्य आदि के उदाहरणों के माध्यम से बताया कि गुरु सदैव अपने शिष्यों को अंधकार से प्रकाश की ओर ही प्रेरित करता है। अपूर्ण को पूर्ण बनाते हैं गुरु’ भक्ति के संदर्भ में गुरु, शिष्य का ईश्वर से संबंध स्थापित करता है। आधुनिक परिवेश में गुरु का तात्पर्य शिक्षक मात्र से ही नहीं अपितु आध्यात्मिक उन्नति को प्रोत्साहित करने वाले गुरु से हैं। पाश्चात्य संस्कृति के अनुसार हमारे विचारों में परिवर्तन हुआ है इनको रोकने का एक ही उपाय है की वैदिक संस्कृति को जीवन में शामिल किया जाए। इसके लिए सबसे उपयुक्त संसाधन गुरुकुल की शिक्षा पद्धति है।

On the occasion of Gurupurnima, sacred thread ceremony of Batukas took place in Gurukul, Guru was worshiped and blessed.

इस अवसर पर मुख्य अतिथि के रूप में पधारे पूर्व मंत्री हरिश्चंद्र भाटी ने इस दिन की महत्व के बारे में विस्तार पूर्वक कहा। गुरु का आशीर्वाद प्राप्त करने के बाद जिम्स के निदेशक ब्रिगेडियर राकेश गुप्ता  ने भारत की उन्नति एवं समृद्धि के लिए गुरुकुल्य शिक्षा पद्धति के साथ-साथ गुरु के महत्व को श्रेष्ठ बताया। गुरुकुल संचालन समिति के अध्यक्ष वेद प्रकाश शर्मा ने गुरुकुल के बारे में विस्तार पूर्वक बताते हुए कहा कि भारत की संस्कृति को बढ़ाने के उद्देश्य से हमने गुरुकुल की स्थापना की है। उन्होंने सभी का आह्वान किया और कहा कि गुरुकुल के स्थायित्व एवं संचालन हेतु आप सभी सज्जनों का साथ आवश्यक है।

On the occasion of Gurupurnima, sacred thread ceremony of Batukas took place in Gurukul, Guru was worshiped and blessed.

आधुनिक शिक्षा पद्धति से समन्वित प्राचीन भारतीय शिक्षा पद्धति को अपनाने पर जोर देते हुए कहा कि जिन विषम परिस्थितियों का हम सामना कर रहे हैं उनसे बचने का एक ही उपाय है कि हमें सर्वदा प्रकृति के साथ संयोजन रखते हुए अपने सभी कार्य करें। प्रो. सहसराम त्रिपाठी और श्याम शंकर शुक्ला आदि विशिष्ट महानुभावों ने गुरुपूर्णिमा एवं गुरू के महत्व को बताया। गुरुकुल निर्माण समिति के अध्यक्ष रविशंकर शर्मा ने गुरुकुल के नए भवन के निर्माण हेतु सभी महानुभावों से यथायोग्य सहयोग का आह्वान किया। संरक्षक बीपी नवानी ने सभी शिष्य बंधुओं का स्वागत किया। इस अवसर पर समाज के प्रतिष्ठित गणमान्य सत्येंद्र कुमार द्विवेदी, गुरुकुल परिवार के सदस्य कुलदीप शर्मा, वीरेंद्र शर्मा, गौरव शर्मा, बृजेश, आदि के साथ अन्य महानुभाव उपस्थित रहे।

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